पंजाब प्रदेश काग्रेस के पूर्व सह सचिव व मिनिस्ट्री आफ फूड प्रोसेसिंग भारत सरकार के सदस्य अतुल नागपाल ने केंद्रीय पर्यटन मंत्री सुबोध कांत सहाय से दिल्ली में मुलाकात कर उनसे अस्तित्व के लिए संघर्ष कर रही ऐतिहासिक फाजिल्का की बाधा झील को बचाने की मांग की।
नागपाल ने केंद्रीय पर्यटन मंत्री को 11 अकबर रोड, दिल्ली में उनके निवास स्थान पर बताया कि भरत-पाकिस्तान सरहद से लगभग 14 किलोमीटर दूर स्थित फाजिल्का की स्थापना वर्ष 1844 में मियां फजल वट्टू ने की थी। लेकिन इस इस शहर के विकास की तरफ आज तक कोई ध्यान नहीं दिया गया।
नागपाल ने बताया कि उस समय फाजिल्का के गाव बाधा में बनाई गई बाधा झील भी आज अंतिम सांसें गिन रही है। झील के साथ फाजिल्का के लोगों की भावनाएं जुड़ी है और पर्यावरण को स्वच्छ रखने में भी इसका महत्वपूर्ण योगदान है। लेकिन अब पुडा झील के किनारे कालोनी काटने जा रही है, जिससे शहर के सौंदर्यीकरण के साथ साथ पर्यावरण को भी नुकसान पहुंचेगा क्योंकि कालोनी के लिए ढेर सारे पेड़ों को काटना पड़ेगा।
नागपाल ने पर्यटन मंत्री से आग्रह किया कि वह जल्द ही पर्यटन विभाग के अधिकारियों की एक टीम फाजिल्का भेज कर बाधा झील का निरीक्षण करवाएं तथा इसे बचाने का प्रयास करे।
पर्यटन मंत्री ने आश्वासन दिया कि वह शीघ्र ही विभाग की होने वाली बैठक में बाधा झील का मुद्दा रखेंगे और अधिकारियों व सहायक मंत्रियों से विचार-विमर्श करेंगे।
1 comment:
Is the news of fazilka's becoming district correct?
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